यूक्रेन पर रूस का हमला : सोशल मीडिया पर वायरल इन तस्वीरों का सच क्या है?
यूक्रेन पर रूस के हमले के दो हफ्ते बाद भी युद्ध के बारे में गलत या गुमराह करने वाली जानकारियों की रफ्तार कम नहीं हुई है और अब तो इससे जुड़ी कुछ अजीब चीजें ऑनलाइन मीडिया पर शेयर की जा रही हैं.
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कुछ लोगों ने इस तरह के दावे फैलाने शुरू कर दिए हैं यह लड़ाई नकली है. यह मीडिया का बनाया गया युद्ध है. पश्चिमी देश इस युद्ध के स्तर को बढ़ा-चढ़ा कर पेश कर रहे हैं.
हमने ऑनलाइन मीडिया पर ज़ोर-शोर से किए जा रहे इस तरह के कुछ दावों की पड़ताल की है.
युद्ध पीड़ित या 'क्राइसिस एक्टर्स'
एक वीडियो में दिखाया जा रहा है कि एक युवक और युवती अपने चेहरे पर नकली खून लगा रहे हैं. इस वीडियो को कई प्लेटफॉर्म पर लाखों व्यूज़ मिले हैं.
वीडियो इस सबूत के तौर पर पेश किया जा रहा है कि यूक्रेन में चल रही लड़ाई नकली है और इसके शिकार नागरिक दरअसल '' क्राइसिस एक्टर्स'' हैं. लोग हमले के शिकार नागरिकों का अभिनय करने के लिए रखे गए हैं.
नकली लाश
एक वीडियो में एक न्यूज़ रिपोर्टर को शव भरे बैग की कतार के सामने रिपोर्ट करते हुए दिखाया गया है. ये भी कई बड़े सोशल नेटवर्क पर वायरल हो गया है. यह वीडियो ज़्यादातर रूस समर्थक अकाउंट्स से वायरल हो रहा है.
इस वीडियो की क्लिप में दिखाया जा रहा है कि एक बैग हिल रहा है. फिर एक आदमी कवर उठाता है और एक फोटोग्राफर के सामने खड़ा हो जाता है.
सोशल मीडिया पर वायरल पोस्ट में दावा किया गया है कि इस वीडियो को यूक्रेन में फ़िल्माया गया है. ऐसे वीडियो यह प्रचारित करने के लिए वायरल किए जा रहे हैं कि ये लड़ाई नकली है. यह पश्चिमी देशों का प्रोपगंडा है.
लेकिन ये दावे गलत हैं. यह वीडियो विएना में जलवायु परिवर्तन से जुड़े विरोध प्रदर्शन का है. यह फरवरी का वीडियो है. इस प्रदर्शन की रिपोर्ट ऑस्ट्रेलियाई अख़बार ऑस्टेरिक ने छापी थी.
इस वीडियो को सोशल मीडिया पर यह प्रचारित करने के लिए शेयर किया जा रहा है कि यूक्रेन की लड़ाई नकली है.
अभिनेता स्टीवन सीगल यूक्रेन में नहीं लड़ रहे
सीएनएन के वेरिफाइड ट्विटर अकाउंट से भेजे गए ट्वीट की तरह लगने वाले एक फर्ज़ी ट्वीट में दावा किया गया है कि अमेरिकी अभिनेता स्टीवन सीगल यूक्रेन की राजधानी कीएव के नजदीक रूसी स्पेशल फोर्स के बीच देखे गए हैं.
सीगल के पास रूस और अमेरिका दोनों की नागरिकता है.
इसे आम यूज़र के साथ ही कई ऐसे असरदार अकाउंट से शेयर किया गया, जिनकी लंबी-चौड़ी फॉलोइंग्स है. इनमें अमेरिकी पॉडकास्ट होस्ट जो रोगन शामिल हैं, जिनके इंस्टाग्राम एक करोड़ चालीस लाख फॉलोअर्स हैं.
लेकिन सच्चाई ये है कि सीगल रूसी सेना के साथ मिल कर नहीं लड़ रहे थे. दरअसल इस बारे में जो ट्वीट किया गया था, वो शायद एक मल्टीपल फ्री ऑनलाइन टूल्स के ज़रिये शेयर किया गया होगा. लेकिन लगता है कि यह असली वेरिफाइड ट्वीट से शेयर किया गया है.
सीएनएन ने बाद में कहा कि इसमें नकली तस्वीर लगाई गई है. उसकी ओर से ऐसा कोई ट्वीट नहीं किया गया है.
नकली फुटेज
अलग-अलग ढंग से शेयर किए गए एक वीडियो में दिखाया गया है कि एक डायरेक्टर एक बड़ी भीड़ को भागने और चिल्लाने का निर्देश दे रहा है. इस वीडियो कई प्लेटफॉर्म पर हजारों व्यूज मिल चुके हैं.
यह दावा किया गया है कि ये वीडियो यूक्रेन से लीक हुआ है. कहा जा रहा है कि कुछ मीडिया संस्थानों की ओर से चलाया जा रहा यह वीडियो नकली है. इसके जरिये यह बताने की कोशिश की जा रही है कि यूक्रेन की लड़ाई नकली है.
लेकिन सचाई यह है कि यह वीडियो बर्मिंघम के विक्टोरिया स्कवायर में 2013 में शूट किया गया था. यह एक साइंस फिल्म 'इन्वेशन प्लानेट अर्थ' का हिस्सा है. इसका नाम उस वक्त 'क्लाइडोस्कोप मैन' रखा गया था.
क्या यूक्रेनी उप राष्ट्रपति की पत्नी भी लड़ रही हैं?
सोशल मीडिया यूजर एक वीडियो खूब शेयर कर रहे हैं, जिसमें कथित तौर पर एक तस्वीर दिखा कर कहा जा रहा है कि यूक्रेन के उप राष्ट्रपति की पत्नी सेना में शामिल होकर रूस हमले के ख़िलाफ लड़ रही हैं. जबकि सच्चाई ये है कि यूक्रेन में कोई उप राष्ट्रपति नहीं है.
सोशल मीडिया पर यह भी दावा किया जा रहा है कि यह महिला यूक्रेन की राष्ट्रपति वलोदोमीर जेलेंस्की की पत्नी ओलेना जेलेंस्का हैं
फैक्ट-चेकर ने पता लगाया कि यह फोटो अगस्त 2021 में लगी गई एक यूक्रेनी महिला सैनिक की है.